Friday, April 26, 2024

कनॉट प्लेस का आखिरी चीनी आख़िर क्यों उदास है?

जॉर्ज च्यू

जॉर्ज च्यू आजकल कुछ उदास हैं। वजह यह है कि अब वे कनॉट प्लेस में अकेले चीनी रह गए हैं। अकेले इसलिए कि उनका पड़ोसी चीनी शूज शो रूम जॉन बद्रर्स भी बंद हो गया है। कनॉट प्लेस में 1990 के दशक तक सात-आठ चीनी मूल के भारतीय अपने शो-रूम चला रहे थे। फिर वे एक-एक करके बंद होने लगे। इसकी मोटे तौर पर दो वजहें थीं। पहली, इन परिवारों की नई पीढ़ी कुछ अलग करना चाहती थी। दूसरा, कई परिवार भारत से कनाडा, ब्रिटेन या आस्ट्रेलिया शिफ्ट होने लगे।

कनॉट प्लेस में 1937 में जॉर्ज च्यू के पिता च्यू यूएह सान ने एफ ब्लॉक में अपना शूज शो-रूम खोला था। उसका नाम था डी.मिनशन एंड कंपनी। यह अब भी आबाद है। च्यू साउथ चीन के कैंटोन शहर से 1935 के आसपास कोलकाता आए थे। उन्हें लगा कि देश की नई राजधानी में काम-धंधे के बेहतर मौके होंगे इसलिए वे कोलकाता से दिल्ली आ गए।  

दरअसल कनॉट प्लेस में 1960 तक करीब एक दर्जन छोटे-बड़े चीनियों के शो-रूम हुआ करते थे। ये अधिकतर शूज के शो-रूम थे। ये अपने कस्टमर्स के लिए खुद ही शूज,चप्पलें, बैलिज, सैंडिल वगैरह बनाते भी थे। कुछ चीनी घरों-दफ्तरों की डेकोरेशन का सामान, क्राकरी, कलाकृतियों वगैरह के शो-रूम भी चला रहे थे।  कनॉट प्लेस के एफ ब्लॉक में चुंग सेम नियान के शो-रूम ‘चार्ल्स सेमियन’ के जलवे थे। 

चुंग सेम नियान के बहुत लंबे-लंबे बाल हुआ करते थे। वे बहुत जिंदादिल शख्स था। अपने कस्टमर्स से खूब देर तक गप मारते थे। उनके साथ उनकी पत्नी भी शो-रूम में काम करती थी। कनॉट प्लेस में ‘चाइनीज आर्ट पैलेस’ नाम का एक बहुत बड़ा और भव्य शो-रूम वोंग नाम के शख्स ने ए ब्लॉक में खोला था। इसमें बेहतरीन कलाकृतियां और शूज  मिलते थे। उनका पैकजिंग का भी मोटा काम था। 

वोंग ने दिल्ली के बाद कराची, मुंबई, श्रीनगर और शिमला में भी अपने शो-रूम खोले थे। दिल्ली से बाहर उनके बिजनेस को उनके मैनेजर देखते थे। उनका एक पुत्र भी था। वह अमेरिका जाकर बस गया था। वोंग ने चाइनीज आर्ट पैलेस अपने दिल्ली शो रूम के मैनेजर चेन किन टेन को दे दिया था। देश के बंटवारे के कारण उनका कराची का शो-रूम वहां ही रह गया था।

 इसी ए ब्लॉक में येप थियान फेट नाम के चीनी का शो-रूम था। वे बहुत स्मार्ट शख्स थे। हमेशा अच्छे कपड़े पहनकर ही रहते थे। उन्हें महिलाओं के हाई हिल के सैंडिल बनाने में महारत हासिल था। उनका माल मंहगा हुआ करता था।  चेन स्मोकर फेट के पास दिल्ली के एलिट परिवारों की महिलाएं शॉपिंग के लिए आया करती थीं। वे हर वक्त अपनी महिला कस्टमर्स से ही घिरे रहा करते थे।

कनॉट प्लेस के डी ब्लॉक में भी एक चीनी शूज शो-रूम ‘एलाइड एंड कंपनी’ था। इसके मालिक का नाम ल्यू थोंग कियान था। इसी तरह से जी ब्लॉक में ‘स्मार्ट शूज कंपनी’ नाम का शो-रूम था। इसे चुंग यिन नियान चलाते थे। कनॉट प्लेस के बी ब्लाक में लियोंग पिन चोंग शूज की छोटी सी दुकान चलाते थे। 

इसमें लियोंग की पत्नी और बेटी भी काम करती थीं। बी ब्लॉक में ही “भगवानदास एंड कंपनी ” के एक हिस्से में होपसन एंड कंपनी नाम से शूज शो-रूम था। इसके मालिक ल्यू ची हेसिन थे। उनके बारे में कहा जाता था कि वे दो घंटे में बेहतरीन जूता बना दिया करते थे। कनॉट प्लेस से सटी शंकर मार्केट में भी एक चीनी मूल के भारतीय शख्स अपना शो-रूम ‘जॉन ली’ चलाते थे। उनका नाम ली होन कियोंग था। यह भी शूज का शो-रूम था। उनका तगड़ा काम था। लेकिन ली ने 1980 के दशक के अंत में अपना शो-रूम बंद कर दिया था। वे सपरिवार स्वदेश चले गए थे।

Read More